ननमई गांव बना गंदगी का गढ़, प्रशासन और पंचायत के निकम्मेपन की खुली पोल, ग्रामीण में आक्रोश
आदर्श सहारा टाइम्स
कौशांबी। जिले के कड़ा ब्लॉक अंतर्गत ननमई गांव इन दिनों बदहाल सफाई व्यवस्था की मार झेल रहा है। गांव की गलियां कूड़े के ढेर से पट चुकी हैं, हर ओर सड़ांध और गंदगी का साम्राज्य फैला है। हालात इतने बदतर हैं कि लोगों का घर से निकलना दूभर हो गया है। यह स्थिति प्रशासन और ग्राम पंचायत की लापरवाही और संवेदनहीनता का जीवंत प्रमाण बन चुकी है।ग्रामीणों का कहना है कि हफ्तों से कोई सफाईकर्मी गांव नहीं आया। पंचायत से बार-बार शिकायत के बावजूद कोई कार्रवाई नहीं हुई। न तो पंचायत सचिव को फुर्सत है, न ही ब्लॉक प्रशासन को कोई फर्क पड़ता है। सफाई कर्मियों की अनुपस्थिति और जिम्मेदारों की चुप्पी ने पूरे गांव को नारकीय बना दिया है कूड़े के ढेर से उठती बदबू और नालियों में जमी गंदगी के कारण मच्छरों का आतंक बढ़ गया है। गांव में डेंगू, मलेरिया जैसी बीमारियों की आशंका मंडरा रही है। लेकिन अफसोस की बात है कि जिन पर व्यवस्था सुधारने की जिम्मेदारी है, वे आंख मूंदे बैठे हैं। यह महज लापरवाही नहीं, बल्कि ग्रामीणों के जीवन से खिलवाड़ है। गांव की यह दुर्दशा देखकर सवाल उठना लाजमी है – क्या प्रशासन किसी बड़ी बीमारी या मौत के बाद जागेगा? क्या पंचायत को तभी सुध आएगी जब गांव में महामारी फैल जाएगी?
